'प्रभु से दो बातें
मेरे प्रभु तू मुझको दिखा
सीधा -सीधा रास्ता।
चलती चलू उस पर में अब
देती हूँ तेरा वास्ता।
जीवन के इस पहर में हूँ
जहाँ समय कम नही
मन को लगा , अपनी तरफ़
इस दुनिया में दम नही।
हंस कर चलो , हर तरफ़
खुशी मेरे मन में हो
हर दम करू याद तुझे
जीवन के पल कम ना हो।
बुद्धी नही, शक्ति नही
करने को कोई , भक्ति नही
मेरा सहारा, तू ही हे
अब इस जीवन में गम नही।
डॉ किरण बाला
गुरुवार, 23 जुलाई 2009
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